रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की अगुवाई
में छत्तीसगढ़ में शुरू हुआ सुशासन तिहार सरकारी योजनाओं को जनता तक पहुंचाने का एक
प्रभावी माध्यम बनता जा रहा है। इस तिहार का उद्देश्य जनसरोकार से जुड़े मामलों, शिकायतों का त्वरित निराकरण करना और हितग्राहियों को योजनाओं का सीधा लाभ
दिलाना है। महासमुंद जिले में कलेक्टर श्री विनय कुमार लंगेह के नेतृत्व में
त्वरित कार्यवाही से जनता को राहत मिली है।
महासमुंद शहर के वार्ड नं. 25 की दीपा साहू ने मुख्यमंत्री नोनी सशक्तिकरण सहायता योजना के तहत आवेदन
किया था। पात्रता जांच के बाद उन्हें 20,000 रुपए की सहायता
राशि मंजूर की गई है, जो एक मई को सीधे उनके बैंक खाते में
भेजी जाएगी। यह राशि दीपा की शिक्षा में काम आएगी। उनका सपना है कि वह शिक्षिका
बनकर समाज को नई दिशा दें।
पिथौरा विकासखंड के ग्राम जंघोरा निवासी मनोहर सिंह
पटेल को तकनीकी कारणों से पहले आयुष्मान कार्ड नहीं मिल पाया था। उन्होंने सुशासन
शिविर में शिकायत दर्ज कराई, जिसे केवल 24
घंटे में सुलझाया गया। 16 अप्रैल को उन्हें
उनका कार्ड मिल गया जिससे अब वे निःशुल्क स्वास्थ्य सुविधा का लाभ ले सकेंगे। इसी
तरह सरायपाली के ग्राम राफेल की आसनी निषाद ने शिकायत की थी कि उन्हें महतारी वंदन
योजना की कोई किस्त नहीं मिली। जांच में पाया गया कि उनका आधार इनएक्टिव था,
जिससे भुगतान अटक गया था। आधार अपडेट के बाद अब उन्हें डीबीटी के
माध्यम से राशि प्राप्त होगी।
सिमगांव की किसान उषा बाई चौहान ने प्रधानमंत्री
किसान सम्मान निधि की राशि नहीं मिलने की शिकायत की थी। बैंक विवरण से पता चला कि
राशि पहले से ही उनके पोस्ट ऑफिस खाते में जमा हो रही है। इसी तरह छह अन्य किसानों
की शिकायतों का भी त्वरित निराकरण हुआ। सुशासन तिहार की सबसे बड़ी उपलब्धि है जनता
की समस्याओं को सुनना और समाधान देना। इससे न सिर्फ सरकारी योजनाओं पर भरोसा बढ़ा
है बल्कि शासन और जनता के बीच संवाद और विश्वास भी मजबूत हुआ है।