गरियाबंद।
छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिले से एक बड़ी खबर हैं। यहाँ के कोपरा गौशाला में 45 गायों की मौत हो गई. मृत गायों को
पैरी नदी के किनारे एक-एक करके फेंका जा रहा था. बदबू फैलने के बाद प्रशासन तक
इसकी शिकायत पहुंची. राजिम एसडीएम विशाल महाराणा टीम के साथजांच करने पहुंचे. टीम
ने पाया कि मौजूद 150 गायें भी चारे के अभाव में भूखी हैं.
अफसरों ने संचालक मनोज साहू को फटकार लगाया है, साथ ही
गौशाला के निरीक्षण के जिम्मेदार पशु चिकित्सक को नोटिस थमाया जारहा है. जांच में
यह भी पाया गया कि चरवाहे और केयरटेकर को दो माह से वेतन नहीं दिया गया है,
जिसके चलते गौवंश की देखभाल नहीं हुई. मामले के बाद अब जिला प्रशासन
ने गौशाला संचालन की जवाबदारी दूसरी संस्था को देने की तैयारी कर ली है. वीएचपी का
आरोप है कि गायों की मौत उन्हें चारा न मिलने से हुई है.
ऐसे आई
हकीकत सामने
पिछले दो
महीने से बिना चारा-पानी के तड़प रही गायों की हकीकत तब सामने आई, जब विहिप कार्यकर्ताओं ने एक-एक कर
गायों की लाशफफेंके जाने की घटना को संज्ञान में लिया और इसकी तहकीकात करते हुए
गौदंशों से साथ हो रही दुराचार को उजागर किया. घटना को लेकर विहिप कार्यकर्ताओं ने
हंगामा किया, जिसके बाद देर रात मौके पर पहुंचे प्रशासन ने
जब गौशाला का निरीक्षण किया, तो 49
गायें मर चुकी थीं, जबकि 150 मवेशी भूख
से कमजोर होकर जमीन पर पड़े थे. जैसे ही चारा डाला गया, गायें
टूट पड़ीं, कुछ तो खड़े होने लायक भी नहीं थीं. मंजर देखकर
मौके पर पहुंचे अधिकारियों के रोंगटे खड़े हो गए.
संचालक
की लापरवाही से हुई गायों की मौत
जांचमें
पता चला कि चरवाहों को दो महीने से वेतन नहीं मिला, इसलिए वे काम छोड़कर चले गए. गौशाला का संचालन करने वाली
संस्था की लापरवाही उजागर होने 'पर संचालक मनोज साहू को तलब
किया गया है और एफआईआर दर्ज करने की तैयारी चल रही है.
एक माह
के भीतर 45 से ज्यादा गौवंश की हुई मृत्यु - विहिप
मोहित
साहू जिला संयोजक बजरंग दल, डिगेश्वर वर्मा विभाग मंत्री विहिप ने कहा कि गौशाल में
पर्याप्त चारे की व्यवस्था नहीं थी. एक माह के भीतर 45 से
ज्यादा गौवंश की मृत्यु हुई है. लापरवाही ऐसी की मृत के बाद विधिवत अंतिम संस्कार
भी नहीं किया गया. लापरवाह संचालक व अन्य जिम्मेदारों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज
की कार्रवाई की जाए. गौशाला संचालन के लिए नगर पंचायत के सुपुर्द किया जाए.
नदी के
किनारे मिला मृत गायों का ढेर
इधर पैरी
नदी किनारे 19 सड़ी-गली लाशें मिलीं, जिन्हें गुपचुप तरीके से
ठिकाने लगाया जा रहा था. विहिप ने मामले में प्राथमिकी दर्ज कर उच्च स्तरीय जांच
और दोषियों 'पर सख्त कार्रवाई की मांग की है. प्रशासन ने
फिलहाल गौशाला का संचालन दूसरी संस्था को सौंपने का फैसला किया है. गरियाबंद
कलेक्टर ने घटना के बाद सीएमओ, संस्था प्रमुख और स्थानीय पशु
चिकित्सा अधिकारी को नोटिस जारी करने के आदेश दिए हैं. एसडीएम विशाल महाराणा ने इस
पूरे मामले को लेकर संस्था प्रमुख को दस्तावेजों के साथ संचालक को तलब किया है.